पित्र दोष निवारण के कुछ खास उपाय / टोटके
पित्र दोष दूर करने के उपाय
पित्र दोष दूर करने के ज्योतिष शास्त्र ने कई उपाय बताये है. जैसा कुंडली में दोष होता है उसी के अनुरूप उपाय करने से सफलता मिलती है .सामान्य उपाय के तोर पर महानारायण गायत्री, षोडश पिंड श्राद्ध सर्प पूजन, कन्यादान पीपल का पेड़ लगाना, इन सब में महतवपूर्ण है श्री मद भागवत का पाठ. हम निचे कुछ सामान्य से उपाय प्रस्तुत कर रहे है जिनसे जन सामान्य भी अपने कुल के पित्र दोष से मुक्त हो सके और सफलता की और कदम उठा सके.
१. प्रत्येक सोमवार को शिवलिंग पर दूध चदना चाहिए.
२. पितरो. को भागवत सुनना सर्वोत्तम उपाय है.
३. गया में श्राद्ध करना चाहिए.
४. नदी ,तलब के निकट शिवाशेक करने से भी पित्र दोष शांत होता है.
५.शनिवार या अमावश्य की रात इशान कोण में जल का कलश रखने से भी शांति मिलती है. ६
६.नाग्वाली करना भी उत्तम उपाय है.
७.गुरूवार के दिन शामको पीपल के पेड़ पर घी का दिया जलने से पित्र प्रशन्न होते है.
८.इन सभी उपायों में सर्व श्रेष्ठ उपाय भागवत का पाठ कारन उत्तम है श्री मद भागवत के पथ के लिए आप मुझ से संपर्क कर सकते है.
&
1. याद रखे घर के सभी बड़े बुजर्ग को हमेशा प्रेम, सम्मान, और पूर्ण अधिकार दिया जाय , घर के महत्वपूर्ण मसलों पर उनसे सलाह मशविरा करते हुए उनकी राय का भी पूर्ण आदर किया जाय ,प्रतिदिन उनका अभिवादन करते हुए उनका आशीर्वाद लेने, उन्हे पूर्ण रूप से प्रसन्न एवं संतुष्ट रखने से भी निश्चित रूप से पित्र दोष में लाभ मिलता है ।
2.अपने ज्ञात अज्ञात पूर्वजो के प्रति ईश्वर उपासना के बाद उनके प्रति कृतज्ञता का भाव रखने उनसे अपनी जाने अनजाने में की गयी भूलों की क्षमा माँगने से भी पित्र प्रसन्न होते है ।
3. सोमवती अमावस्या को दूध की खीर बना, पितरों को अर्पित करने से भी इस दोष में कमी होती है ।
4. सोमवती अमावस्या के दिन यदि कोई व्यक्ति पीपल के पेड़ पर मीठा जल मिष्ठान एवं जनेऊ अर्पित करते हुये “ऊँ नमो भगवते वासुदेवाएं नमः” मंत्र का जाप करते हुए कम से कम सात या 108 परिक्रमा करे तत्पश्चात् अपने अपराधों एवं त्रुटियों के लिये क्षमा मांगे तो पितृ दोष से उत्पन्न समस्त समस्याओं का निवारण हो जाता है।
5.प्रत्येक अमावस्या को गाय को पांच फल भी खिलाने चाहिए।
6. अमावस्या को बबूल के पेड़ पर संध्या के समय भोजन रखने से भी पित्तर प्रसन्न होते है।
7. प्रत्येक अमावस्या को एक ब्राह्मण को भोजन कराने व दक्षिणा वस्त्र भेंट करने से पितृ दोष कम होता है ।
8. पितृ दोष से पीड़ित व्यक्ति को प्रतिदिन शिव लिंग पर जल चढ़ाकर महामृत्यूंजय का जाप करना चाहिए ।
9. माँ काली की नियमित उपासना से भी पितृ दोष में लाभ मिलता है।
10. आप चाहे किसी भी धर्म को मानते हो घर में भोजन बनने पर सर्वप्रथम पित्तरों के नाम की खाने की थाली निकालकर गाय को खिलाने से उस घर पर पित्तरों का सदैव आशीर्वाद रहता है घर के मुखियां को भी चाहिए कि वह भी अपनी थाली से पहला ग्रास पित्तरों को नमन करते हुये कौओं के लिये अलग निकालकर उसे खिला दे।
पित्र दोष दूर करने के उपाय
पित्र दोष दूर करने के ज्योतिष शास्त्र ने कई उपाय बताये है. जैसा कुंडली में दोष होता है उसी के अनुरूप उपाय करने से सफलता मिलती है .सामान्य उपाय के तोर पर महानारायण गायत्री, षोडश पिंड श्राद्ध सर्प पूजन, कन्यादान पीपल का पेड़ लगाना, इन सब में महतवपूर्ण है श्री मद भागवत का पाठ. हम निचे कुछ सामान्य से उपाय प्रस्तुत कर रहे है जिनसे जन सामान्य भी अपने कुल के पित्र दोष से मुक्त हो सके और सफलता की और कदम उठा सके.
१. प्रत्येक सोमवार को शिवलिंग पर दूध चदना चाहिए.
२. पितरो. को भागवत सुनना सर्वोत्तम उपाय है.
३. गया में श्राद्ध करना चाहिए.
४. नदी ,तलब के निकट शिवाशेक करने से भी पित्र दोष शांत होता है.
५.शनिवार या अमावश्य की रात इशान कोण में जल का कलश रखने से भी शांति मिलती है. ६
६.नाग्वाली करना भी उत्तम उपाय है.
७.गुरूवार के दिन शामको पीपल के पेड़ पर घी का दिया जलने से पित्र प्रशन्न होते है.
८.इन सभी उपायों में सर्व श्रेष्ठ उपाय भागवत का पाठ कारन उत्तम है श्री मद भागवत के पथ के लिए आप मुझ से संपर्क कर सकते है.
&
1. याद रखे घर के सभी बड़े बुजर्ग को हमेशा प्रेम, सम्मान, और पूर्ण अधिकार दिया जाय , घर के महत्वपूर्ण मसलों पर उनसे सलाह मशविरा करते हुए उनकी राय का भी पूर्ण आदर किया जाय ,प्रतिदिन उनका अभिवादन करते हुए उनका आशीर्वाद लेने, उन्हे पूर्ण रूप से प्रसन्न एवं संतुष्ट रखने से भी निश्चित रूप से पित्र दोष में लाभ मिलता है ।
2.अपने ज्ञात अज्ञात पूर्वजो के प्रति ईश्वर उपासना के बाद उनके प्रति कृतज्ञता का भाव रखने उनसे अपनी जाने अनजाने में की गयी भूलों की क्षमा माँगने से भी पित्र प्रसन्न होते है ।
3. सोमवती अमावस्या को दूध की खीर बना, पितरों को अर्पित करने से भी इस दोष में कमी होती है ।
4. सोमवती अमावस्या के दिन यदि कोई व्यक्ति पीपल के पेड़ पर मीठा जल मिष्ठान एवं जनेऊ अर्पित करते हुये “ऊँ नमो भगवते वासुदेवाएं नमः” मंत्र का जाप करते हुए कम से कम सात या 108 परिक्रमा करे तत्पश्चात् अपने अपराधों एवं त्रुटियों के लिये क्षमा मांगे तो पितृ दोष से उत्पन्न समस्त समस्याओं का निवारण हो जाता है।
5.प्रत्येक अमावस्या को गाय को पांच फल भी खिलाने चाहिए।
6. अमावस्या को बबूल के पेड़ पर संध्या के समय भोजन रखने से भी पित्तर प्रसन्न होते है।
7. प्रत्येक अमावस्या को एक ब्राह्मण को भोजन कराने व दक्षिणा वस्त्र भेंट करने से पितृ दोष कम होता है ।
8. पितृ दोष से पीड़ित व्यक्ति को प्रतिदिन शिव लिंग पर जल चढ़ाकर महामृत्यूंजय का जाप करना चाहिए ।
9. माँ काली की नियमित उपासना से भी पितृ दोष में लाभ मिलता है।
10. आप चाहे किसी भी धर्म को मानते हो घर में भोजन बनने पर सर्वप्रथम पित्तरों के नाम की खाने की थाली निकालकर गाय को खिलाने से उस घर पर पित्तरों का सदैव आशीर्वाद रहता है घर के मुखियां को भी चाहिए कि वह भी अपनी थाली से पहला ग्रास पित्तरों को नमन करते हुये कौओं के लिये अलग निकालकर उसे खिला दे।
मुझे मेरे सही DOB पता नही है। और मुझे पंडित जी ने बताया है की हमारे घर मै पित्तर दोस है। मुझे कोई उपाय बताये ताकी मै हमारे पित्तर को सान्त और मना सकु। राकेश बैरवा 9971863220
ReplyDeleteAap hume call kar sakte hai,,,,,
Delete